नई दिल्ली, 06 जनवरी 2024। भारत का पहला सौर मिशन आदित्य एल1 अपने लक्ष्य पर पहुंच गया है। इसरो ने आज सुबह 4 बजकर 30 मिनट पर इस मिशन की सफलता की घोषणा की।
आदित्य एल1 पृथ्वी और सूर्य के बीच की लैग्रेंज बिंदु L1 पर पहुंच गया है। यह एक स्थिर बिंदु है जहां सूर्य और पृथ्वी के गुरुत्वाकर्षण बल एक-दूसरे को संतुलित करते हैं। इस बिंदु पर पहुंचने से आदित्य एल1 सूर्य का अध्ययन करने के लिए सबसे उपयुक्त स्थिति में होगा।
आदित्य एल1 में सात पेलोड हैं जो सूर्य की सतह, वायुमंडल और चुंबकीय क्षेत्र का अध्ययन करेंगे। इन पेलोड से प्राप्त डेटा से वैज्ञानिकों को सूर्य की उत्पत्ति, विकास और गतिविधि के बारे में बेहतर समझ प्राप्त होगी।
इसरो अध्यक्ष एस सोमनाथ ने आदित्य एल1 की सफलता पर खुशी जताई है। उन्होंने कहा कि यह भारत के अंतरिक्ष अनुसंधान में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है। उन्होंने कहा कि इसरो का लक्ष्य अंतरिक्ष विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में भारत को एक प्रमुख शक्ति बनाना है।
सोमनाथ ने कहा कि इसरो के पास आने वाले समय में कई महत्वपूर्ण मिशनों की योजना है। इनमें चंद्रयान-4, गगनयान और मंगलयान-2 शामिल हैं। चंद्रयान-4 चंद्रमा की सतह पर एक मानवयुक्त मिशन भेजेगा। गगनयान भारत का पहला मानवयुक्त अंतरिक्ष मिशन होगा। मंगलयान-2 मंगल ग्रह पर एक लैंडर और रोवर भेजेगा।
भारत का पहला सौर मिशन आदित्य एल1 अपने लक्ष्य पर पहुंच गया है, जहां से ये सूर्य का अध्ययन करेगा. इसरो चीफ़ ने ख़ुशी जताते हुए बताया कि आगे इसरो का क्या-क्या करने का इरादा है. pic.twitter.com/QbrSVW09Kp
— BBC News Hindi (@BBCHindi) January 6, 2024
सोमनाथ ने कहा कि इसरो इन मिशनों के माध्यम से अंतरिक्ष विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में भारत की क्षमताओं को और बढ़ाएगा।